मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ अपनी मंत्रिपरिषद का जल्द पुनर्गठन कर सकते हैं। 2022 के विधानसभा चुनाव की आहट के साथ ही मंत्रिपरिषद में फेरबदल की अटकलें तेज हो गई हैं। हाल ही में दो मंत्रियों की कोरोना से मृत्यु हुई है। इनके विभाग किसी को आवंटित नहीं किए गए हैं। इन मंत्रियों के स्थान पर नए चेहरों को जगह मिल सकती है। वहीं, कुछ मंत्री अपना विभाग बदलवाना चाहते हैं जबकि कुछ को उनकी असंतोषजनक परफॉर्मेंस की वजह से किनारे किया जा सकता है। विधानसभा चुनाव के मद्देनजर विधायकों की नाराजगी कम करने के लिए उनके समायोजन पर भी माथापच्ची चल रही है।

विधानसभा चुनाव होने में करीब डेढ़ साल बाकी है। चुनाव की हलचल धीरे-धीरे तेज हो रही है। इसके साथ ही मंत्रिपरिषद के पुनर्गठन की सुगबुगाहट भी सुनाई देने लगी है। हालांकि कोविड-19 के कारण इसमें कुछ वक्त लग सकता है लेकिन सूत्रों की मानें तो स्थिति थोड़ी सामान्य होते ही मंत्रिपरिषद का पुनर्गठन तय है। विधायकों की संख्या के हिसाब से मंत्रिपरिषद में 60 सदस्य हो सकते हैं। अभी तक 56 सदस्यीय मंत्रिपरिषद थी। हाल ही में प्राविधिक शिक्षा मंत्री कमलरानी वरुण व होमगार्ड मंत्री चेतन चौहान की कोरोना से मृत्यु के बाद यह संख्या 54 रह गई है। मंत्रिपरिषद में छह स्थान रिक्त हैं।